-प्रदेश में पीपीपी मॉडल पर बनने हैं दो दर्जन बस स्टेशन
-17 बस अड्डों के लिये प्री-बीडिंग प्रक्रिया मई तक पूरी होने की उम्मीद
-लखनऊ के गोमतीनगर सहित प्रमुख शहरों में बनने हैं हाईटेक बस स्टेशन
लखनऊ , एजेंसी : आगामी मई माह के आखिरी सप्ताह तक प्रदेश में 17 नये रोडवेज बस स्टेशन बनने के रास्ते खुल जायेंगे। इसको लेकर मंगलवार को यूपी रोडवेज मुख्यालय पर परिवहन मंत्री स्वतंत्र प्रभार दयाशंकर सिंह, प्रमुख सचिव परिवहन आरके सिंह व एमडी निगम आरपी सिंह सहित अन्य आला अधिकारियों की मौजूदगी में पीपीपी मॉडल पर प्रस्तावित 17 नये बस अड्डों की प्री-बींिडंग को लेकर मंथन हुआ। इस बैठक में कई निवेशकों के साथ विभागीय मंत्री व रोडवेज अधिकारियों की टीम ने वर्चुअल मीटिंग के जरिये वार्ता की।
गौर हो कि इससे पहले भी रोडवेज मुख्यालय पीपीपी मॉडल के तहत 17 नये बस स्टेशनों के निर्माण का टेंडर निकाल चुकी है, मगर दोनों बार इक्का-दुक्का निवेशकों ने ही इसमें रुचि दिखायी। ऐसे में टेंडर प्रक्रिया दोनों बार पूर्ण नहीं हो सकी। मगर अब जबकि नयी सरकार का गठन होने के साथ ही नये परिवहन मंत्री ने कमान संभाल लिया है तो ऐसे में रोडवेज प्रबंधन फिर से टेंडर प्रक्रिया को शुरू करने का रोडमैप तैयार कर रही है।
एक टेंडर प्रक्रिया में लगते हैं 70 लाख!
पीपीपी मॉडल पर जिन 17 नये बस स्टेशनों के दो बार टेंडर हुए और फेल हो गये। इस संदर्भ में निगम से जुडे़ परिवहन जानकारों का कहना है कि एक बार ऐसी टेंडर प्रक्रिया को शुरू करने में परिवहन निगम का लगभग 70 लाख रुपये का अधिभार पड़ता है। ऐसे में चूंकि दो बार टेंडर प्रक्रिया फेल हो गई, तो फिर तकरीबन डेढ़ लाख रुपये का झटका बेवजह निगम को लग गया। वहीं रोडवेज यूनियन प्रतिनिधियों की मानें तो इतनी राशि में तो तमाम रोडवेज कर्मियों का जो भी बकाया एरियर वगैरह है उसका भुगतान पूरा हो जाता है। इन्हीं सब बातों को ध्यान में रखते हुए अब रोडवेज प्रबंधन की टीम पूरी योजनानुसार टेंडर निकालने जा रही है ताकि पूर्व की गलतियों को दोहराया नहीं जाये और जिस मंशा के साथ टेंडर निकाला जा रहा है, वो पूरा हो सके।
जहां बनने हैं पीपीपी बस स्टेशन
कौशांबी गाजियाबाद, कानपुर सेंटर झकरकट्टी, वाराणसी कैंट, सिविल लाइन प्रयागराज, चारबाग, अमौसी कार्यशाला, विभूति खंड गोमती नगर, बरेली सैटेलाइट, साहिबाबाद, जीबी रोड प्रयागराज, गाजियाबाद, गोरखपुर, मथुरा ओल्ड, न्यू लैंड, अलीगढ़, आगरा फोर्ट, रसूलाबाद, ईदगाह आगरा, ट्रांसपोर्ट नगर आगरा और सोहराब गेट मेरठ।
आलमबाग मॉडल रहा रुला, अब चलना है संभलकर!
उत्तर प्रदेश में पीपीपी मॉडल पर बने पहले बस स्टेशन की बात करें तो राजधानी के आलमबाग में टर्मिनल बस स्टेशन पहला है। इसके बाद ही निगम ने सूबे के प्रमुख शहरों में इसी तर्ज पर 17 नये बस स्टेशनों को बनाने का प्लान बनाया। मगर चूंकि रोडवेज बस संचालन के मद्देनजर आलमबाग टर्मिनल पर तैनात रोडवेज अफसरों व कर्मियों की टीम को आज भी तमाम दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है, ऐसे में मुख्यालय आगे टेंडर करते हुए जिस भी निवेशक के साथ करार करेगा, फूंक-फूंक कर कदम रखना चाह रहा है।
‘पूरी उम्मीद है कि आगामी मई माह में प्रदेश में पीपीपी मॉडल पर प्रस्तावित 17 नये बस स्टेशनों का टेंडर पूरा कर लिया जायेगा। पूर्व की टेंडरिंग प्रक्रिया में जो भी दिक्कतें आईं, उसे निस्तारित करते हुए आगे का रोडमैप तैयार किया जा रहा है। नये निवेशकों के साथ लगातार हमारे रोडवेज अफसरों की टीम संपर्क में है और हर पहलू पर ध्यान दिया जा रहा है। फोकस में लखनऊ गोमतीनगर, वाराणसी, कानपुर, मेरठ, प्रयागराज आदि पर बनने वाले बस स्टेशन हैं।’ -: आरपी सिंह, एमडी यूपी रोडवेज